Dairy Farming Subsidy: उत्तर प्रदेश सरकार कड़ी कोशिश कर रही है किसानों की आय को दोगुना करने के लिए। उन्होंने पशुपालन को भी बढ़ावा देने का प्रयास किया है। नंद बाबा मिशन के अंतर्गत, प्रदेश सरकार लाहोरी, पंजाब, और देल्ली से साहीवाल, थारपारकर, और गिल नस्ल की दो गायों को लाने के लिए उन किसानों को 80,000 रुपये का अनुदान दे रही है, जो उन्हें पालते हैं। उत्तर प्रदेश सरकार ने कई जिलों, जैसे कि बांदा, के साथ मिलकर इस योजना को आगे बढ़ाने का काम किया है, ताकि यहाँ के पशुपालकों और किसानों को भी इससे लाभ मिल सके।
सब्सिडी के लिए महिलाओं को प्राथमिकता मिलेगी – Dairy Farming Subsidy
मुख्यमंत्री स्वदेशी गौ संवर्धन योजना के तहत, पंजाब, हरियाणा और साहीवाल से पशुपालक दो गायों को संरक्षित करेंगे। उसे 80 हजार रुपये का अनुदान मिलेगा। आवेदन पत्र भरने के बाद एक महीने के भीतर लाभार्थी के खाते में सब्सिडी की राशि भेजी जाएगी। इस कार्यक्रम में 50% महिलाओं को वरीयता मिलेगी।
किसान को दो गाय खरीदनी होगी – Dairy Farming Subsidy
किसानों और पशुपालकों को 2 लाख रुपये में दो प्रकार की गायें पालनी होंगी जो 10 से 12 लीटर दूध देंगी। उन्हें इन गायों के लिए देखभाल करनी होगी, और उनके रखने के लिए एक टीनशेड और घास काटने की मशीन भी खरीदनी होगी। इस योजना के तहत, गौवंशों के लिए 3 साल का पशु बीमा भी शामिल होगा। ऐसा करने के लिए सरकार 80,000 रुपये की सब्सिडी प्रदान कर रही है, जबकि शेष 1,20,000 किसानों को खुद से खर्च करना होगा।
किसान ऐसे कर सकते है आवेदन – Dairy Farming Subsidy
पशु पालन विभाग के उपनिदेशक मनोज अवस्थी ने बताया कि इस योजना के लिए आवेदन ऑनलाइन (http://www.animalhusb.upsdc.gov.in/hi) या नजदीकी जिला पशुपालन केंद्र पहुंचकर ऑफलाइन दोनों तरीकों से किए जा सकते हैं। आवेदन के लिए आधार कार्ड, बैंक अकाउंट की प्रति, और गायों को सुरक्षित रखने के लिए जगह की फोटो के साथ, ग्रासलैंड की जानकारी के साथ कृषि भूमि के दस्तावेज़ भी आत्मसाती करना होगा। फिर, विकास भवन में पशु चिकित्सा अधिकारी, बीडीओ या सीडीओ के कार्यालय में इसे जमा करना होगा। आवेदन की सत्यापन के बाद, किसानों के खाते में योजना के अंतर्गत प्राप्त होने वाले धनराशि को भेज दी जाएगी।